मरने के बाद क्या होना?
होना क्या? कुछ नहीं होना।
मतलब रोना-धोना नहीं होना
धोना तो बिल्कुल नहीं होना
भीड़ लगना नहीं होना
किसी को बुलाना नहीं होना
कोई खबर फैलाना नहीं होना
कोई सभा-भाषण नहीं होना
कोई पंडित-वंडित नहीं होना
कोई लकड़ी-घी नहीं होना
कोई नाम-वाम, सत्य-असत्य नहीं होना
कोई परेड-जुलूस नहीं होना
बस ऐसे-का-ऐसे गाड़ी में डालना
और सीधे जा के बिजली से जला देना
कोई तीन-दस-तेरह नहीं होना
कोई फूल-वूल नदी-वदी नहीं होना
राख को कहीं कूड़े में फेंक देना होना
और कुछ किसी हालत में नहीं होना
[2009]
टिप्पणी भी नहीं होना..
गुस्सा भी नहीं होना..
मजाक होना!!!
:)
Lovely poem. This is true that …….
कोई मरे या जिए
जिन्दगी तो यूँ ही चलती रहती है
बस रह जाती है याद
जिंदगी भर रुलाने को